डेस्क:समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के बीच एक तरफ महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में सीटों के बंटवारे का पेंच फंसा हुआ है वहीं यूपी उपचुनाव में सपा की ओर से दो सीटों के ऑफर ने कांग्रेसी दावेदारों की बेचैनी बढ़ा दी है। पार्टी ने एक तरफ ज्यादा सीटों के लिए सपा पर दबाव बढ़ा दिया है। दूसरी तरफ कई मीडिया रिपोर्ट्स में सूत्रों के हवाले से दावा किया जा रहा है कि अधिक सीटें नहीं मिलीं तो कांग्रेस यूपी उपचुनाव से किनारा भी कर सकती है। हालांकि अभी तक कांग्रेस नेताओं ने इस पर चुप्पी साध रखी है। प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने कहा है कि सीटों के बारे में राष्ट्रीय नेतृत्व तय कर रहा है। हम लोग यूपी में संगठन की मजबूती के लिए काम कर रहे हैं।
सीटों के बंटवारे को लेकर फंसे इस पेंच के बीच कांग्रेस यूपी में दो से ज्यादा सीटों के लिए अड़ी हुई है। अभी तक सपा की तरफ से उसके लिए केवल दो ही सीटें छोड़े जाने का स्पष्ट संकेत दिया गया है। यूपी में नौ विधानसभा सीटों पर नामांकन की प्रक्रिया शुरू होने के बाद भी इंडिया गठबंधन के इन दोनों प्रमुख दलों के बीच सीटों के बंटवारे का विवाद हल नहीं हो पाया है। नामांकन की अंतिम तारीख 25 अक्तूबर नजदीक आने के साथ ही कांग्रेस में टिकटों के दावेदारों की बेचैनी बढ़ती जा रही है।
अभी तक के संकेतों के अनुसार कांग्रेस को गाजियाबाद के अलावा खैर की सीट मिलने वाली है। समाजवादी पार्टी ने इन दोनों सीटों से अपने प्रत्याशी घोषित नहीं किए हैं। इसके अलावा सपा ने कुंदरकी सीट पर भी अपना प्रत्याशी नहीं उतारा है। गाजियाबाद और खैर सीट से कांग्रेस के टिकट के दावेदार भी खासे परेशान हैं। पार्टी ने उन्हें अभी तक कोई स्पष्ट संकेत नहीं दिया है। कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि पार्टी केवल दो ही सीटों पर चुनाव लड़ने को तैयार नहीं है। ऐसे में सपा पर हर हाल में दो से ज्यादा सीटें छोड़ने के लिए दबाव बनाया जा रहा है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि उपचुनाव में दोनों दलों के बीच गठबंधन कौन सा मोड़ लेता है? सूत्र बताते हैं कि कांग्रेस महाराष्ट्र में सपा की 12 सीटों पर दावेदारी से बेचैन है।