डेस्क:‘हेरा फेरी 3’ को लेकर जारी विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। पहले अक्षय कुमार और अब परेश रावल—दोनों के नाम इस फिल्म से जुड़े विवादों में सामने आ चुके हैं। जब अक्षय कुमार की टीम ने कानूनी कार्रवाई का रास्ता अपनाया, तो मामला और भी ज्यादा गंभीर होता गया। अब इस पूरे मसले पर परेश रावल ने पहली बार खुलकर बयान दिया है और साफ किया है कि उन्होंने अपने वकील के जरिए फिल्म से अलग होने को लेकर विधिसम्मत जवाब भेज दिया है।
रविवार सुबह परेश रावल ने अपने X (पूर्व में ट्विटर) हैंडल पर एक पोस्ट में लिखा,
“मेरे वकील अमीत नाइक ने मेरे फिल्म से अलग होने और काम छोड़ने के मेरे अधिकार को लेकर एक माकूल जवाब भेज दिया है। एक बार वो मेरा जवाब पढ़ लेंगे तो बाकी सारी बहस ही शांत हो जाएगी।”
उनकी यह प्रतिक्रिया उस खबर के बाद आई है, जिसमें दावा किया गया था कि अक्षय कुमार ने ‘हेरा फेरी 3’ छोड़ने को लेकर परेश रावल पर केस दर्ज करा दिया है। यह भी चर्चा थी कि परेश रावल फिल्म के लिए करीब 3 मिनट 30 सेकेंड का शूट भी कर चुके हैं, लेकिन IANS ने अपने सूत्रों के हवाले से इस बात को गलत बताया है।
साइनिंग अमाउंट लौटाया, ब्याज समेत
बॉलीवुड हंगामा की एक रिपोर्ट के मुताबिक, परेश रावल ने हाल ही में वह 11 लाख रुपये फिल्म के निर्माताओं को लौटा दिए हैं, जो उन्हें बतौर साइनिंग अमाउंट दिए गए थे। खास बात यह है कि उन्होंने न केवल साइनिंग अमाउंट लौटाया, बल्कि उस पर 15% ब्याज और फिल्म न करने के कारण हुई असुविधा की भरपाई के तौर पर अतिरिक्त राशि भी भेजी है।
रिपोर्ट के मुताबिक, परेश रावल को इस फिल्म के लिए कुल 15 करोड़ रुपये मिलने थे। इसमें से 11 लाख साइनिंग अमाउंट के रूप में अग्रिम दिए गए थे, जबकि बाकी की राशि—यानी करीब 14.89 करोड़ रुपये—उन्हें फिल्म की रिलीज के एक महीने बाद मिलनी थी। फिल्म की शूटिंग 2026 में शुरू होने की योजना थी और रिलीज 2027 में तय थी, यानी परेश रावल को अंतिम भुगतान मिलने में दो साल से भी ज्यादा का समय लग सकता था।
‘हेरा फेरी’ से जुड़ी भावनाएं और विवाद
‘हेरा फेरी’ बॉलीवुड की उन चुनिंदा फिल्मों में से है, जिसे दर्शक ‘कल्ट क्लासिक’ का दर्जा देते हैं। इसके अगले भाग का लोग बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। ऐसे में जब फिल्म से जुड़े बड़े नामों के बीच विवाद सामने आते हैं, तो यह सिर्फ कानूनी या पेशेवर मुद्दा नहीं रह जाता—बल्कि दर्शकों की भावनाओं से भी जुड़ जाता है।
अब देखना यह है कि परेश रावल का यह कानूनी जवाब, जिसने उनके अनुसार “सारी बहस को शांत कर देना चाहिए”, वास्तव में इस विवाद पर विराम लगाता है या आने वाले दिनों में कहानी में कोई नया मोड़ आता है।