खंडवा:मध्य प्रदेश के खंडवा जिले की पुनासा तहसील के एक गांव में रहने वाले किसान ने अपने खेत में कीटनाशक पीकर जान दे दी। बताया जा रहा है कि किसान सूखे के कारण फसल बर्बाद होने से परेशान था। मृतक के खेत में लगी कपास और सोयाबीन की करीब चार लाख रुपये की फसल सूखकर चौपट हो गई थी। यही नहीं करीब डेढ़ महीने पहले बाढ़ में उसके बैल भी बह गए थे, जिसका मुआवजा उसे अब तक नहीं मिला था। किसान इस कारण परेशान था। उसने सोमवार को देर रात यह कदम उठाया। फिलहाल पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
फसलें बर्बाद
एमपी के खंडवा जिले में इस साल बारिश नहीं होने के कारण फसलें बर्बाद हो गई हैं। इसको लेकर किसान परेशान हैं। इससे किसान बेहद परेशान हैं। ऐसा ही एक मामला देर रात को जिले के पुनासा तहसील के ग्राम देयत में देखने को मिला जहां एक युवा किसान सुखराम ने अपने तीन एकड़ के खेत में लगी फसल सूख जाने के चलते खेत पर ही कीटनाशक पीकर आत्महत्या कर ली। मृतक के खेत में लगी कपास और सोयाबीन की करीब चार लाख रुपए की फसल सूखे के चलते बर्बाद हो गई थी।
बाढ़ में बह गए थे बैल
डेढ़ माह पूर्व आई बाढ़ में किसान के बैल भी बह गए थे। बताया जाता है कि इसका पटवारी ने सर्वे तो कर लिया था, लेकिन उसे मुआवजा नहीं मिल पाया था। इस कारण किसान मानसिक रूप से परेशान था। वह फसल सूखने से हताश हो गया था। फिलहाल मूंदी पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है। मृतक किसान के भाई चंदू ने बताया कि उनका भाई कुछ दिनों से परेशान था। उसने उन्हें बताया था कि उसके जो बैल बहे थे, उनका पटवारी ने सर्वे कर लिया था लेकिन मुआवजा नहीं मिला था। उसके तीन एकड़ खेत में लगी फसल भी पूरी तरह से सूख गई थी।
इलाज हुआ लेकिन नहीं बची जान
इस कारण वह परेशान था। इसी वजह से उसने आत्महत्या जैसा कदम उठाया है। कीटनाशक पीने के बाद उनके भाई को पहले तो मूंदी के प्राथमिक अस्पताल में ले जाया गया जहां प्राथमिक उपचार के बाद उसे खंडवा के जिला अस्पताल के लिए रेफर कर दिया गया लेकिन देर रात उसकी मृत्यु हो गई।
विधायक बोले- क्षतिपूर्ति देगी सरकार
बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता और पंधाना विधायक राम दंगोरे ने बताया कि एक ओर अतिवृष्टि के चलते मृतक किसान के बैल बह गए थे, अब बारिश नहीं होने के कारण उनकी फसल सूख गई थी। विधायक दांगोरे ने किसानों से अपील की के कोई भी किसान इस तरह का गलत कदम ना उठाए। सरकार उनके साथ है। आने वाले तीन से चार दिनों में सरकार किसानों की सूखी फसल का सर्वे करना शुरू कर देगी। उन्हें जितनी हानि हुई है उसकी प्रतिपूर्ति सरकार करेगी।