रांची :झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार भूमि अधिग्रहण कानून 2013 में रघुवर दास सरकार द्वारा किए गए संशोधन को वापस लेगी। कंपनियों और पूंजीपतियों द्वारा ली गई जमीन का उपयोग नहीं करने पर उसे वापस लिया जाएगा और जमीन को लैंड बैंक में रखने के प्रावधान में संशोधन करते हुए रैयतों को वापस लौटाई जाएगी।
इसके साथ ही जिन रैयतों की भूमि निर्धारित समय तक उपयोग नहीं की जाती है, तो उसे जमीन के साथ-साथ क्षतिपूर्ति की राशि दी जा सकेगी। इसके लिए राज्य सरकार सभी उपायुक्तों से आकलन कराएगी और उनकी रिपोर्ट के आधार पर निर्णय लेगी।
झारखंड विधानसभा में इसकी जानकारी प्रभारी मंत्री जोबा मांझी ने दी। वे विधायक प्रदीप यादव के ध्यानाकर्षण पर बोल रही थीं।
विधायक प्रदीप यादव ने सदन में ध्यानाकर्षण के जरिए सवाल उठाया कि रघुवर सरकार ने भूमि अधिग्रहण कानून में संशोधन कर उपयोग नहीं की गई जमीन को लैंड बैंक में डालने का प्रावधान किया था, जबकि सरकार को कानून में परिवर्तन करने का कोई अधिकार नहीं था।
उन्होंने कहा कि क्या हेमंत सरकार रघुवर सरकार की इस गलती को सुधारने का विचार रखती है। इस पर मंत्री जोबा मांझी ने कहा कि निश्चित रूप से गलती को सुधारते हुए रैयतों को जमीन वापस लौटाने का प्रावधान किया जाएगा।
विधायक प्रदीप यादव ने सदन में मांग की है कि भूमि अधिग्रहण कानून के तहत जिन रैयतों की ली गई भूमि का उपयोग नहीं हुआ है, उन्हें जमीन के साथ क्षतिपूर्ति राशि भी दिलवाई जाए। विधायक ने कहा कि अधिग्रहित भूमि पर भू स्वामी कोई काम नहीं कर पाता है, लेकिन जब कई साल बाद उपयोग नहीं की गई भूमि उसे लौटाई जाती है तो क्षतिपूर्ति मुआवजा नहीं मिलता है।
सरकार उपायुक्त से उसकी जमीन को हुए नुकसान का आकलन करा कर रैयत को क्षतिपूर्ति राशि भी दिलवाए। इस पर प्रभारी मंत्री जोबा मांझी ने कहा कि वे उपायुक्तों से इसका आकलन कराकर रिपोर्ट मांगी जाएगी। रिपोर्ट के अनुसार आगे की कार्रवाई की जाएगी।
रांची और गोड्डा का प्रदीप यादव ने उठाया मामला
विधायक प्रदीप यादव ने कहा कि रांची के हेथू गांव में एयरपोर्ट अथॉरिटी ने एक व्यक्ति की ढाई एकड़ जमीन का 2016 में अधिग्रहण किया था। इस दौरान उसे जमीन पर चढ़ने नहीं दिया गया। अब एयरपोर्ट अथॉरिटी का कहना है कि जमीन की जरूरत नहीं है।
वहीं, दूसरी तरफ गोड्डा में अडानी पावर प्लांट के लिए पांच गांव की जमीन 2016 में ली गई थी, लेकिन 2018 के बाद वो जमीन वापस दे दी गई। सरकार उसका मुआवजा प्रभावित परिवारों को दिलवाए।