रांची:झारखंड में मनरेगा मजदूर से स्वरोजगार तक का सफर तय करने वाले 72 श्रमिकों को अपना काम मिल गया है। करीब 50 श्रमिकों का भी प्रशक्षिण पूरा हो गया है। इन्हें विभन्नि कंपनियों से अच्छे-खासे पैकेज पर प्लेसमेंट का ऑफर मिला है।
प्रोजेक्ट उन्नति से ये श्रमिक विभिन्न ट्रेड में प्रशिक्षित हुए थे। इसके बाद इन्हें फैशन डिजाइनर, फील्ड तकनीशियन एंड कंप्यूटिंग, फोरमैन इलेक्ट्रिशियन, एमओ इन लाइन चेकर, वेयरहाउस पीकर, सिलाई मशीन ऑपरेटर, जेनरल ड्यूटी सहायक बनने का अवसर मिला है। इनमें 57 महिलाएं भी हैं। इनका अब अपना रोजगार हो गया है।
इनमें सर्वाधिक फैशन डिजाइनिंग व सिलाई मशीन ऑपरेटर का काम मिला है। वहीं, 64 पुरुष मजदूरों को जेनरल ड्यूटी सहायक, फोरमैन इलेक्ट्रिशयन, एमओ लाइन चेकर आदि का काम मिला है। इन्हें हजारीबाग, रांची, लोहरदगा, गुमला, देवघर, कोयबंटूर, पंजाब तथा गुरुग्राम में नौकरी मिली है।
ग्रामीण विकास विभाग झारखंड ने मनरेगा के आठ सौ से अधिक श्रमिकों को अबतक प्रोजेक्ट उन्नति से प्रशिक्षित कराया है। इन्हें स्वरोजगार या विभन्नि कंपनियों में नौकरी करने के लिए अवसर भी प्रदान किए जा रहे है।
राज्य के ग्रामीण विकास सचिव डॉ.मनीष रंजन ने इस संबंध में कहा कि झारखंड के रहने वाले लोगों के सामाजिक व आर्थिक विकास के लिए सरकार लगातार प्रयासरत है। उन्नति परियोजना इसी कड़ी में मजदूरों को प्रशक्षिति कर स्वरोजगार उपलब्ध करा रहा है।
मनरेगा आयुक्त राजेश्वरी बी ने बताया कि यह प्रयास हो रहा है कि 100 दिन का काम करने वाले सारे मनरेगा मजदूरों को प्रोजेक्ट उन्नति से प्रशक्षिति कर स्वरोजगार के लिए तैयार किया जाये, ताकि वे आत्मनर्भिर बन सकें। इससे ग्रामीण क्षेत्रों का विकास भी होगा।