नई दिल्ली:खालिस्तानी नेता हरदीप सिंह निज्जर हत्याकांड को लेकर भारत और कनाडा के बीच संबंध सबसे निचले स्तर पर आ चुके हैं। कनाडा से लौट चुके भारतीय राजनयिक संजय वर्मा ने कहा कि निज्जर हमारे लिए आतंकवादी था, लेकिन लोकतंत्र में न्याय प्रणाली से परे कोई भी कृत्य गलत होता है तो सच सामने आना चाहिए। निज्जर हत्याकांड पर कनाडा ने अपने आरोपों से जुड़े सबूत अभी तक पेश नहीं किए हैं। कनाडा सरकार का कदम एक तरह से पीठ पर छुरा घोंपने जैसा है। उन्होंने कनाडाई सरकार पर खालिस्तानी आतंकियों और चरमपंथियों को शरण देने का भी आरोप लगाया।
जस्टिन ट्रूडो सरकार के निज्जर हत्याकांड को लेकर भारतीय राजनयिक संजय वर्मा को लगाए गंभीर आरोपों के बाद बड़ा कूटनीतिक विवाद शुरू हो गया है। जिसमें भारत ने अपने वरिष्ठ राजनयिकों को वापस बुला लिया और छह कनाडाई राजनयिकों को भी निष्कासित कर दिया।
वरिष्ठ भारतीय राजनयिक संजय वर्मा ने गुरुवार को पीटीआई को दिए इंटरव्यू में कहा कि खालिस्तानी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में कनाडा का कदम “एक तरह से पीठ में छुरा घोंपने जैसा” है। कनाडा द्वारा मुझे निज्जर हत्याकांड में ‘पर्सन इन इंटरेस्ट’ घोषित करना एक झटका था। उन्होंने कनाडा के इस चौंकाने वाले कदम को द्विपक्षीय संबंधों के प्रति सबसे गैर-पेशेवर बताया। उन्होंने कहा, “यह बहुत बुरा है।”
निज्जर हमारे लिए आतंकवादी था
संजय वर्मा ने कहा कि निज्जर हमारे लिए आतंकवादी था लेकिन लोकतंत्र में न्याय प्रणाली से परे कोई भी कृत्य गलत होता है, सच सामने आना चाहिए। वर्मा ने बताया कि किस तरह कनाडा सरकार ने उन्हें बुलाया और उनसे अपनी राजनयिक छूट वापस करने को कहा। कनाडा के अधिकारियों के सामने अपनी उपस्थिति को याद करते हुए कहा, ‘‘मैंने कोई भावना प्रकट नहीं की, चेहरे पर चिंता की एक लकीर भी नहीं थी।’