अपने बच्चों को अच्छी परवरिश देना, हर माता-पिता का पहला सपना होता है। ऐसा करते समय उन्हें कई बार अलग-अलग तरह की चुनौतियों का सामना भी करना पड़ सकता है। जिम्मेदारियों के अपने इस सफर को निभाते हुए उनसे कई बार कुछ गलतियां भी जाती है। जिनका सीधा असर उनके आत्मविश्वास और सफल जीवन पर पड़ने लगता है। ऐसे में यह जानना बेहद जरूरी हो जाता है कि आखिर वो कौन सी पेरेंटिंग मिस्टेक हैं, जिनका बच्चों के कॉन्फिडेंस पर बुरा असर पड़ता है और वो जीवन में असफल होने लगते हैं।
बच्चों के कॉन्फिडेंस पर बुरा असर डालती हैं ये पेरेंटिंग मिस्टेक
ओवर प्रोटेक्टिव होना
कुछ माता-पिता अपने बच्चों को हर समय प्रोटेक्ट करके रखना चाहते हैं। ऐसा करते हुए वो अकसर बच्चों की हर समस्या को खुद ही सुलझाने लग जाते हैं। जिससे बच्चे का आत्मविश्वास कमजोर हो जाता है और वो कभी भी अपने जीवन से जुड़े फैसले खुद नहीं ले पाता है। वो जीवन के अपने हर बड़े फैसले के लिए माता-पिता पर निर्भर बना रहता है। ऐसे में बच्चे के आत्मविश्वास को अच्छा बनाए रखने के लिए उसे अपने फैसले खुद लेने की आजादी दें। ऐसा करते हुए उस पर नजर जरूर बनाए रखें। ताकि वो कोई गलत कदम ना उठा लें।
प्रोत्साहन की कमी
जिन बच्चों को उनकी उपलब्धियों पर सराहना नहीं मिलती है, उनके भीतर भी आत्मविश्वास की कमी के साथ नीरसता आने लगती है। ऐसे में बच्चे के हर छोटे-बड़े एफर्ट्स के लिए उसे मोटिवेट करें। ताकि वो जीवन में ऐसे अन्य कार्य करने के लिए प्रोत्साहित हो सके। जो पेरेंट्स अपने बच्चों को समय-समय पर प्रोत्साहित नहीं करते हैं, उनके मन में हर समय हारने का डर बना रहता है।
खुलकर बात नहीं करना
अगर आप चाहते हैं कि आपका बच्चा आपसे कभी भी कुछ भी ना छिपाए तो उससे रोजाना कुछ देर खुलकर बात करने का समय जरूर निकालें। आप अपने बच्चे के हर सवाल का खुलकर ईमानदारी से जवाब देने की कोशिश करें। याद रखें, बच्चे से खुलकर बात ना करने पर आप दोनों के बीच भरोसे की कमी हो सकती है, जिससे आप दोनों का रिश्ता बिगड़ सकता है।