डेस्क:फूड और ग्रॉसरी डिलीवरी कंपनी स्विगी का जल्द ही आईपीओ आने वाला है। कंपनी दिवाली तक अपने आईपीओ को लॉन्च कर सकती है। इस आईपीओ को हाल ही में सेबी से मंजूरी भी मिल गई है। इस बीच, कंपनी की प्री-लिस्टिंग प्रॉस्पेक्टस के मुताबिक स्विगी ने फाउंडर श्रीहर्ष मजेटी, टॉप मैनेजमेंट को 271 मिलियन डॉलर का ईएसओपी ग्रांट किया है। बता दें कि कर्मचारी स्टॉक विकल्प योजना (ईएसओपी) एक इक्विटी मुआवजा योजना है, जिसके तहत कंपनियां अपने कर्मचारियों को कंपनी के शेयर खरीदने का विकल्प देती हैं। इसे भारत में कर्मचारी स्टॉक स्वामित्व योजना भी कहा जाता है।
क्या है डिटेल
ईटी की एक रिपोर्ट के मुताबिक, बेंगलुरु स्थित कंपनी के फाउंडर और समूह के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीहर्ष मजेटी को स्टॉक का लगभग 200 मिलियन डॉलर दिया गया है। बाकी हिस्सा को-फाउंटर नंदन रेड्डी और फणी किशन अडेपल्ली, मुख्य वित्तीय अधिकारी राहुल बोथरा, मुख्य प्रौद्योगिकी अधिकारी मधुसूदन राव, फूड मार्केटप्लेस सीईओ रोहित कपूर और स्विगी इंस्टामार्ट के नव नियुक्त सीईओ अमितेश झा को दिया गया है। बता दें कि रेड्डी कंपनी के इनोवेशन प्रमुख भी हैं, जबकि अडेपल्ली स्विगी के मुख्य विकास अधिकारी हैं। मजेटी के लिए कंपनी में 6.23% हिस्सेदारी है। यह 2024 योजना के जरिए दिए गए अतिरिक्त ईएसओपी के परिणामस्वरूप 2.2-2.5% की अतिरिक्त हिस्सेदारी हो सकती है। वह आईपीओ के बिक्री प्रस्ताव (ओएफएस) के जरिए 7.5 मिलियन डॉलर की हिस्सेदारी बेचेंगे।
जुलाई और सितंबर के बीच मजेटी और रेड्डी ने सेकेंडरी लेनदेन के जरिए स्विगी के शेयर बेचे थे। जहां मजेटी ने करीब 23 मिलियन डॉलर की हिस्सेदारी बेची, वहीं रेड्डी ने 12 मिलियन डॉलर के शेयर बेचे हैं। ईकॉमर्स मार्केटप्लेस फ्लिपकार्ट से सितंबर में स्विगी में शामिल हुए झा को 13.3 मिलियन डॉलर के विकल्प दिए गए थे, जबकि कपूर, जो अगस्त 2022 से कंपनी के साथ हैं, को नवीनतम ईसॉप योजना के तहत 9.8 मिलियन डॉलर के स्टॉक विकल्प दिए गए थे।