इस्लामाबाद:पाकिस्तान में ईश निंदा कानून की आड़ में अल्पसंख्यकों को टारगेट करना और उन्हें प्रताड़ित करना बेहद आम है। अक्सर ऐसे आरोपों में उन्हें गिरफ्तारी, जेल और मौत की सजा तक का सामना करना पड़ता है। मानवाधिकारों के हनन के एक ऐसे ही मामले में सिंध प्रांत में एक हिंदू युवक पर इंटरनेट मीडिया पर भगवान को ‘क्रूर’ कहने के लिए ईश निंदा का आरोप लगाया गया है।
बिटर विंटर पत्रिका ने इस संदर्भ में एक रिपोर्ट प्रकाशित की है। इटली के पत्रकार मार्को रेस्पिंटी ने बिटर विंटर में लिखा है, ”पाकिस्तान में ईशनिंदा कानूनों का खतरा यह है कि ईशनिंदा को स्पष्ट रूप से परिभाषित नहीं किया गया है।” यह ताजा मामला है, जो पिछले महीने इस कानून की अस्पष्टता का एक स्पष्ट उदाहरण है।
लव कुमार नाम का नौजवान 22 नवंबर को लापता हो गया था, लेकिन उसके परिवार को यह नहीं पता था कि वह कहां है। उन्हें 27 दिसंबर को सूचित नहीं किया गया कि वह जेल में है। रिपोर्ट के मुताबिक, लव कुमार पर औपचारिक रूप से ईशनिंदा का आरोप लगाया गया। यह एक ऐसा अपराध है, जिसके लिए पाकिस्तान में मौत की सजा दी जाती है।
युवक अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय से ताल्लुक रखता है। उसने इंटरनेट मीडिया पर पोस्ट किया था कि वह दुखी महसूस कर रहा है, क्योंकि उसके परिवार में किसी की मौत हो गई है। युवक ने अपनी पोस्ट में यह भी लिखा था कि हमारी बहनों को हर दिन घर से ले जाया जाता है और इस मामले में वह बेबस और लाचार है। ऐसा करने वालों का कुछ नहीं कर पाता है।
युवक का पोस्ट पाकिस्तान में हिंदू लड़कियों के अपहरण और जबरन मतांतरण के संदर्भ में था। इसके साथ ही लड़के ने अपने पोस्ट में लिखा- हे भगवान, आप अपने फैसलों में सबसे क्रूर व्यक्ति हैं! इस पोस्ट के लिए युवक को जेल में डाल दिया गया है।