सियोल:उत्तर कोरिया ने रविवार को समुद्र में कई राकेट दागे हैं। दक्षिण कोरियाई सेना ने यह जानकारी दी है। कुछ दिनों पहले उत्तर कोरिया के हथियारों के हालिया परीक्षण गतिविधियों के बीच नवीनतम मिसाइल लांच विफल हो गया था। अनुमान है कि उत्तर कोरिया अपने हथियारों को मजबूती देने के लिए जल्दी ही लंबी दूरी की बैलिस्टिक मिसाइल लांच करने का प्रयास कर सकता है। समझौता रुके होने के कारण प्योंगयांग रियायतें हासिल करने के लिए अमेरिका पर दबाव बना सकता है।
दक्षिण कोरिया की सेना ने सुझाव दिया है कि बीते बुधवार को उत्तर कोरिया के हवा में ही हुए मिसाइल विस्फोट में ह्वासोंग-17 मिसाइल के हिस्से शामिल थे। यह सबसे बड़ा हथियार था। रविवार को दक्षिण कोरिया के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि उसने उत्तर कोरिया के पश्चिमी तट से मल्टीपल राकेट लांच प्रणाली से फायरिंग किए जाने का पता लगाया है। मंत्रालय ने कहा कि सेना उत्तर कोरियाई गतिविधि पर गहरी नजर रख रही है और अपनी तैयारी बनाए हुई है।
दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति कार्यालय की ओर से जारी बयान में कहा गया कि उसने उत्तर कोरिया की ओर से किए गए परीक्षणों पर चर्चा करने के लिए एक आपातकालीन राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की बैठक की। परिषद के सदस्यों ने अमेरिका के साथ इन परीक्षणों का विश्लेषण करने के लिए काम किया। माना जा रहा है कि दक्षिण कोरिया में नई सरकार आ सकती है क्योंकि मौजदा राष्ट्रपति मून जे-इन का पांच साल का कार्यकाल मई में समाप्त हो रहा है।
यून सुक येओल के नेतृत्व वाली नई सरकार के आने की उम्मीद है। यून ने अमेरिका के साथ सैन्य गठबंधन को बढ़ावा देने और उत्तर कोरिया के बढ़ते परमाणु खतरों को बेअसर करने के लिए एक मजबूत सुरक्षा प्रतिबद्धता हासिल करने की कसम खाई है। बुधवार को किया गया असफल ट्रायल उत्तर कोरिया की ओर से इस साल का 10वां हथियार प्रक्षेपण था। उत्तर कोरिया का कहना है कि ये परीक्षण जासूसी उपग्रहों को स्थापित करने के लिए किए गए थे।