मध्य प्रदेश के उज्जैन में 12 ज्योतिर्लिंग में से एक, दक्षिणमुखी महाकाल मंदिर में कई एकड़ क्षेत्र में तैयार किए गए दिव्य और भव्य कॉरिडोर महाकाल लोक का लोकार्पण आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे। इसके लिए उज्जैन को बेहद आकर्षक तरीके से सजाया गया है। महाकवि कालिदास के महाकाव्य मेघदूत में महाकाल वन की परिकल्पना को जिस सुंदर ढंग से प्रस्तुत किया गया है, सैकड़ों वर्षों के बाद उसे साकार रूप दे दिया गया है।
अगस्त 2019 में प्रदेश सरकार ने महाकाल मंदिर विस्तार योजना की परिकल्पना की थी। 856 करोड़ रुपये की महाकालेश्वर मंदिर गलियारा विकास परियोजना के पहले चरण का उद्घाटन हो रहा है। पहले चरण में महाकाल लोक को 316 करोड़ रुपये में विकसित किया गया है। गलियारे के लिए दो भव्य प्रवेश द्वार-नंदी द्वार और पिनाकी द्वार बनाए गए हैं। महाकाल मंदिर के नवनिर्मित गलियारे में 108 स्तंभ बनाए गए हैं
श्रीमहाकाल लोक योजना
इसके पहले फेज में 2.8 हेक्टेयर में महाकाल मंदिर का एरिया था लेकिन महाकाल लोक पूरा होने के बाद 47 हेक्टेयर का हो जाएगा। 946 मीटर लंबे कॉरिडोर पर चलते हुए श्राद्धालु महाकाल मंदिर के गर्भगृह तक पहुंचेंगे। कॉरिडोर पर चलते हुए उन्हें बाबा महाकाल के अद्भुत रूपों के दर्शन तो होंगे ही, साथ ही शिव महिमा और शिव-पार्वती विवाह की भी गाथा देखने ओर सुनने को भी मिलेगी। इस लोक में शिव गाथा से जुड़ी 208 मूर्तियां और 108 स्तंभ हैं, जिसमें शिव परिवार और शिव विवाह से जुड़ी कई कहानियां समर्पित हैं।
महाकाल लोक धार्मिक कॉरिडोर
महाकाल कॉरिडोर देश का पहला ऐसा धार्मिक कैंपस है, जो पौराणिक सरोवर रुद्रसागर के किनारे डेवलप हो रहा है। शिव, शक्ति और दूसरे धार्मिक किस्सों से जुड़ी करीब 200 मूर्तियां और म्यूरल्स (भित्त चित्र) के जरिए इसे सजाया गया है। श्रद्धालु शिव की अनसुनी कथाएं इनसे जानेंगे। सप्त ऋषि, नवग्रह मंडल, त्रिपुरासुर वध, कमल ताल में विराजित शिव, 108 स्तम्भों में शिव के आनंद तांडव का अंकन, शिव स्तम्भ, भव्य प्रवेश द्वार पर विराजित नंदी की विशाल प्रतिमाएं हैं। यहां देश का पहला नाइट गार्डन भी बनाया गया है।
सिंहस्थ 2028 को लेकर प्लान
महाकाल लोक सिंहस्थ को ध्यान में रखकर प्लान किया गया है। सिंहस्थ के दौरान इंदौर, रतलाम, देवास, मक्सी जैसे किसी भी शहर से उज्जैन आने पर सिंहस्थ मेले के डेढ़ किमी नजदीक गाड़ियां पार्क हो सकेंगी। लोगों को मेला क्षेत्र में पहुंचने के लिए ज्यादा पैदल नही चलना पड़ेगा। इसके आसपास डेढ़ किमी क्षेत्र में भी तिरुपति की तरह बैटरी वाली सरकारी गाड़ियां चलेंगी। 30 सितंबर 2023 तक महाकाल आने वाले श्रद्धालुओं के लिए 2500 गाड़ियों की पार्किंग तैयार हो जाएगी। वहीं सिंहस्थ को लेकर 7 हजार गाड़ियों की स्थाई पार्किंग व्यवस्था नदी के किनारे ही बनाई जा रही है। इसके लिए क्षिप्रा किनारे कॉरिडोर बनाने की योजना पर काम शुरू हो गया है।
त्योहारों के अनुरूप रहेगी व्यवस्था
महाकाल लोक 12 अक्टूबर से महाकाल मंदिर दर्शन व्यवस्था में देश का सबसे सुव्यवस्थित मंदिर हो जाएगा। श्रद्धालु 20 मिनट में महाकाल दर्शन कर सकेंगे। 30 हज़ार श्रद्धालु एक साथ महाकाल लोक में जा सकेंगे। व्यवस्था ऐसी रहेगी कि 1 दिन में 7 लाख श्रद्धालु भी आ जाएं तो किसी प्रकार की परेशानी नहीं होगी। शिवरात्रि, नागपंचमी और सिंहस्थ जैसे आयोजनों के लिए दर्शन की ऐसी बेहतर व्यवस्था बनाई जा रही है, जो देश के किसी मंदिर में नहीं है। यह दर्शन व्यवस्था अगले 50 साल को ध्यान में रखकर बनाई गई है। उद्घाटन के बाद श्रद्धालुओं को सबसे बड़ी सुविधा बिना भीड़ के सुविधाजनक और कम समय में दर्शन की मिलेगी। रात में सोने की तरह दमकने वाले कॉरिडोर में सुंदरता अपने चरम पर होगी। आम श्रद्धालुओं को किसी भी त्योहार पर परेशानी नहीं उठानी पड़ेगी। इस दौरान ना तो महाकाल पहुंचने वाले वाहनों को शहर से दूर रोका जाएगा और न ही कई किमी पैदल चलना होगा।
फूलों से महका महाकाल दरबार
महाकाल का दरबार देशी-विदेशी फूलों की सुगंध से महक उठा है। गर्भगृह और नंदी हाल के साथ ही महाकाल परिसर के सभी छोटे-बड़े मंदिर रंग-बिरंगी रोशनी से नहाए हुए हैं। महाकाल मंदिर के दरबार में स्थित सभी छोटे-बड़े मंदिरों और कोटितीर्थ कुंड के आस-पास भी पुष्प सज्जा की गई है। इसमें देसी गुलाब, गेंदा, सुगंधित पुष्प इसके अलावा विशेष किस्म के डच गुलाब, जरबेरा, लिली, रजनीगंधा, एंथोरियम के फूल शामिल हैं। विशेष किस्म के पुष्प पुणे व बेंगलुरु से मंगाए गए हैं। जानकारी मंदिर समिति से जुड़े अधिकारियों ने बताया।
आज की ट्रैफिक व्यवस्था
श्रीमहाकाल लोक का लोकार्पण 11 अक्टूबर को होगा। मंगलवार को 3:00 बजे के बाद देवास-इंदौर रोड बंद रहेंगे। सभा स्थल पर पहुंचने वाले लोगों को अपने आमंत्रण पत्र और पास दिखाकर 5:00 बजे के पहले पहुंचना होगा। पार्किंग व्यवस्था उज्जैन के रणजीत हनुमान साडू माता की बावड़ी ग्राम कौन सा पिपली नाका वरुण बक्सर तक रहेगी। वहीं जिला धार व रतलाम से आने वाले लोग भूखी माता टर्निंग से मंदिर तक पार्किंग कर सकेंगे।
श्रद्धालु महाकाल दर्शन करेंगे
रोज की भांति महाकाल दर्शन करने आने वाले श्रद्धालु बाबा महाकाल के दर्शन कर सकेंगे। पीएम मोदी के महाकाल मंदिर में दर्शन के लिए आने पर करीब एक घंटे के लिए गणेश मंडपम को बंद कर दिया जाएगा। महाकाल मंदिर के प्रशासक संदीप सोनी ने बताया कि पीएम मोदी के दर्शन कार्यक्रम के दौरान श्रद्धालु कार्तिकेय मंडपम से दर्शन कर सकेंगे। पीएम के दौरे से पहले ही महाकाल मंदिर और महाकाल लोक में एसपीजी ने कमान संभाल ली है। आम श्रद्धालुओं को भारी सुरक्षा के बीच से गुजर कर महाकाल के दर्शन होंगे। उज्जैन एसएसपी सत्येंद्र शुक्ल ने बताया कि पीएम के दर्शन के दौरान आम श्रद्धालुओं के दर्शन को रोका नहीं जाएगा, लेकिन श्रद्धालुओं को बड़ी संख्या में प्रवेश नहीं मिलेगा।
उज्जैन में 3 घंटे रहेंगे पीएम मोदी
महाकाल लोक के लोकार्पण के लिए पहुंच रहे देश के प्रधानमंत्री उज्जैन में करीब 2 से 3 घंटे तक रहेंगे। मोदी उज्जैन पहुंचने के बाद सीधे महाकाल दर्शन करेंगे और ध्यान लगाएंगे। उसके पश्चात महाकाल लोक के नंदी द्वार से महाकाल लोक का लोकार्पण कर कॉरिडोर में बनी हुई मूर्तियों को निहारेंगे। इस दौरान देश के 700 कलाकार अपने-अपने स्थानों से ही अपनी प्रस्तुतियां देंगे इसके पश्चात शिप्रा नदी तट के पास पीएम मोदी कार्तिक मेला ग्राउंड में आम सभा को संबोधित करेंगे। इसके बाद पीएम मोदी कार से इंदौर निकल जाएंगे।