कीव:यूक्रेन पर रूस के आक्रमण की वजह से यूक्रेनी लोग अपना देश छोड़ने को मजबूर हैं। शरणार्थियों के लिए संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त ने बताया कि रूसी आक्रमण के मद्देनजर एक करोड़ यूक्रेनियन शरणार्थी विदेश भाग गए हैं या देश के अंदर विस्थापित हो गए हैं। संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी के प्रमुख फिलिपो ग्रांडी ने कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच बढ़ते झगड़े के कारण लाखों यूक्रेनियन अपने घरों से भागने को मजबूर हो गए हैं।
यूएनएचसीआर के ऑफिस ने कहा कि शनिवार तक विदेश भागे यूक्रेनियाई लोगों की संख्या 3.38 मिलियन से ऊपर थी। कहा गया कि लगभग दो-तिहाई शरणार्थी, करीब 2.05 मिलियन लोग पोलैंड गए और करीब 180,000 रूस में शरण लिए हुए हैं। इस बीच, इंटरनेशनल ऑर्गनाइजेशन फॉर माइग्रेशन ने कहा कि बुधवार तक यूक्रेन के अंदर विस्थापित लोगों की संख्या 6.48 मिलियन होने का अनुमान है।
सीरिया से भी बड़ा विस्थापन यूक्रेन में हो रहा
अंतरराष्ट्रीय प्रवास संगठन (आईओएम) के अनुमान से पता चलता है कि यूक्रेन विस्थापन के मामले में पिछले तीन सप्ताह में ही सीरिया से आगे निकल चुका है, जहां साल 2010 में भीषण युद्ध की शुरुआत हुई थी। सीरिया में अब तक 1 करोड़ 30 लाख से अधिक लोग या तो विस्थापित हो चुके हैं या फिर देश छोड़कर चले गए हैं। संयुक्त राष्ट्र एजेंसी का यह अनुमान शुक्रवार को प्रकाशित एक दस्तावेज में सामने आया है।
‘यूक्रेनवासियों को मजदूरी के लिए रूस ले जाया जा रहा’
यूक्रेन की मारियुपोल सिटी काउंसिल ने दावा किया है कि (मारियुपोल के) निवासियों को उनकी इच्छा के खिलाफ रूस ले जाया जा रहा है, जबकि एक सांसद ने दावा किया है कि उन लोगों को रूस के दूर-दराज के इलाकों में जबरन मजदूरी कराने ले जाया जा रहा है। सिटी काउंसिल की ओर से जारी बयान में कहा गया है, ”कब्जा करने वाले यूक्रेन से लोगों को रूस जाने को मजबूर कर रहे हैं। पिछले एक सप्ताह में मारियुपोल के कई हजार निवासियों को रूसी क्षेत्र में ले जाया गया है।”